गूगल ट्रांसलेटर में शामिल किया जाना गौरव की बात
भारत में कुल आबादी का पांचवा हिस्सा भोजपुरी भाषी है, वहीं विश्व में तीसवां हिस्सा भोजपुरी पढता, लिखता व बोलता है। विश्व के कई हिस्सों में इसे संवैधानिक मान्यता मिल गई है जबकि दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति है कि इसे अपने देश में ही संवैधानिक मान्यता नहीं है।
– प्रो. डा. गुरुचरण सिंह, प्राचार्य , एसपी जैन कालेज
भोजपुरी और मैथिली को गूगल ट्रांसलेटर में स्थान देने की घोषणा इन दोनों भाषाओं का गूगल द्वारा सम्मान है। विशेषकर भोजपुरी का जिसे अभी तक भारत के संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल नहीं किया गया है। भोजपुरी भारत के एक बड़े क्षेत्र की ही भाषा नहीं है बल्कि यह विश्व के अनेक देशों में बोली जाती है। भोजपुरी भाषी अमेरिका से लेकर आस्ट्रेलिया तक में फैले हैं और इसे बोलते भी हैं। फ़िजी, गुयाना, ट्रिनिडाड, सूरिनाम, मारिसस आदि देशों की प्रमुख भाषाओं में से यह एक है। इन सभी क्षेत्रों में भोजपुरी भाषाई लोगों का रहन-सहन, खान-पान, पहनावा-ओढ़ावा सब एक है।
भारत में कुल आबादी का पांचवा हिस्सा भोजपुरी भाषी है, वहीं विश्व में तीसवां हिस्सा भोजपुरी पढता, लिखता व बोलता है। विश्व के कई हिस्सों में इसे संवैधानिक मान्यता मिल गई है जबकि दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति है कि इसे अपने देश में ही संवैधानिक मान्यता नहीं है।
– प्रो. डा. गुरुचरण सिंह, प्राचार्य , एसपी जैन कालेज
भोजपुरी और मैथिली को गूगल ट्रांसलेटर में स्थान देने की घोषणा इन दोनों भाषाओं का गूगल द्वारा सम्मान है। विशेषकर भोजपुरी का जिसे अभी तक भारत के संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल नहीं किया गया है। भोजपुरी भारत के एक बड़े क्षेत्र की ही भाषा नहीं है बल्कि यह विश्व के अनेक देशों में बोली जाती है। भोजपुरी भाषी अमेरिका से लेकर आस्ट्रेलिया तक में फैले हैं और इसे बोलते भी हैं। फ़िजी, गुयाना, ट्रिनिडाड, सूरिनाम, मारिसस आदि देशों की प्रमुख भाषाओं में से यह एक है। इन सभी क्षेत्रों में भोजपुरी भाषाई लोगों का रहन-सहन, खान-पान, पहनावा-ओढ़ावा सब एक है।
भारत में कुल आबादी का पांचवा हिस्सा भोजपुरी भाषी है, वहीं विश्व में तीसवां हिस्सा भोजपुरी पढता, लिखता व बोलता है। विश्व के कई हिस्सों में इसे संवैधानिक मान्यता मिल गई है जबकि दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति है कि इसे अपने देश में ही संवैधानिक मान्यता नहीं है।
– प्रो. डा. गुरुचरण सिंह, प्राचार्य , एसपी जैन कालेज
भोजपुरी और मैथिली को गूगल ट्रांसलेटर में स्थान देने की घोषणा इन दोनों भाषाओं का गूगल द्वारा सम्मान है। विशेषकर भोजपुरी का जिसे अभी तक भारत के संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल नहीं किया गया है। भोजपुरी भारत के एक बड़े क्षेत्र की ही भाषा नहीं है बल्कि यह विश्व के अनेक देशों में बोली जाती है। भोजपुरी भाषी अमेरिका से लेकर आस्ट्रेलिया तक में फैले हैं और इसे बोलते भी हैं। फ़िजी, गुयाना, ट्रिनिडाड, सूरिनाम, मारिसस आदि देशों की प्रमुख भाषाओं में से यह एक है। इन सभी क्षेत्रों में भोजपुरी भाषाई लोगों का रहन-सहन, खान-पान, पहनावा-ओढ़ावा सब एक है।
UttarPradeshLive.Com Home | Click here |
Subscribe to Our YouTube, Instagram and Twitter – Twitter, Youtube and Instagram.